चीन का विरोध: यूनिवर्सिटी ने बनाई ज़ूम से दूरी, अब गूगल मीट से होंगी सभी मीटिंग

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गोरखपुर। दीन दयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय में दिनाँक 19 जून आयोजित होने जा रहे रीडिंग डे कार्यक्रम के सम्बंध में पढ़े गोरखपुर समिति की ऑनलाइन बैठक हुई, जिसमें भारत-चीन सीमा पर शहीद हुए सैनिकों को श्रद्धांजलि दी गई।

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बैठक में चर्चा हुई कि चीन की नापाक हरकतों को देखते उसका कई स्तरों पर बहिष्कार किया जाना जरूरी है। अतः रीडिंग डे का कार्यक्रम चीनी एप जूम पर न कराकर गूगल मीट का सहारे कराया जाएगा। इससे एक प्रतीकात्मक संदेश जाएगा।

कार्यक्रम समन्वयक प्रो. अजय कुमार शुक्ला ने बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि चीन के रवैये को देखते हुए जनभावना के सम्मान में जूम एप के प्रयोग से दूरी बनाने की पहल की गई है।

कई स्त्रोतों से ये खबरे भी आ रही हैं कि जूम एप निजता के नज़रिए से असुरक्षित है और चीन द्वारा इसका दुरुपयोग किया जा रहा है। ऐसे में रीडिंग डे गूगल मीट के माध्यम से आयोजित कराने का निर्णय लिया गया है।

हालांकि मजे की बात ये है कि ज़ूम सॉफ्टवेयर अमेरिका का सॉफ्टवेयर है। अमेरिका के नागरिक और ज़ूम के सीईओ ईरीक युआन ने कई बार साफ किया है कि ज़ूम अमेरिकी कम्पनी है जिसका हेडक्वार्टर अमेरिका के सैनफ्रांसिस्को शहर में है। इसका चीन से कोई लेना देना नहीं है।

उल्लेखनीय है कि कुलपति प्रो. विजय कृष्ण सिंह जी के निर्देश पर विश्वविद्यालय में 19 जून को रीडिंग डे का आयोजन गूगल मीट के माध्यम से होगा, जिसका उद्घाटन प्रो. नंदिता सिंह, अधिष्ठाता कला संकाय द्वारा किया जाएगा।