गोरखपुर। भटहट बाजार के इंडियन बैंक में एक ही एकाउंट नंबर पर दो महिलाओं के नाम से खाता खुलने का मामला सामने आया है। एक खाताधारक महिला खर्चों में कटौती कर नियमित रूप से खाते में रुपये जमा करती रही तो दूसरी महिला सरकारी मदद समझकर खाते में आई रकम निकालती रही।
पैसा जमा करने वाली महिला ने रुपये निकालने की कुछ दिन पहले शिकायत की थी। इसके बाद बुधवार को दूसरी खाताधारक रुपये निकालने पहुंची तो पकड़ ली गई।
मामला पुलिस के पास गया तब जाकर एक ही एकाउंट नंबर पर दोनों के नाम से खाता खोलने की बैंककर्मियों की लापरवाही उजागर हुई।
पिपराइच के बनचरा निवासी रामनरेश की पत्नी शीला देवी ने वर्ष 2014 में खाता खुलवाया था। छोटी-छोटी रकम जोड़कर उन्होंने खाते में एक लाख रुपये जमा कर रखा था।
कुछ दिन पहले शीला अपना पासबुक अपडेट कराने बैंक पहुंची तो खाते से 54 हजार रुपये निकल जाने का पता चला। उसी समय उन्होंने इसकी शिकायत बैंक प्रबंधक से की। छानबीन करने पर पता चला कि अलग-अलग तिथि में यह रकम निकासी फार्म भर कर निकाली गई है।
बैंक प्रबंधक ने गहराई से छानबीन करने की बात कहकर उस समय शीला को घर भेज दिया। साथ ही उनके खाते से निकासी पर रोक लगा दी।
इस बीच बुधवार को शीला के खाता नंबर से रुपये निकालने के लिए निकासी का फार्म जमा किया गया। निकासी फार्म देखते ही कैशियर के कान खड़े हो गए। उन्होंने इसकी जानकारी बैंक प्रबंधक को दी।
बैंक प्रबंधक ने भटहट चौकी इंचार्ज को बुलाकर रुपये निकालने के लिए निकासी फार्म जमा करने वाली महिला को उनके हवाले कर दिया।
पूछताछ में पता चला कि उस महिला का नाम भी शीला है और वह भी बनचरा गांव की ही रहने वाली है। हालांकि उसके पति का नाम अमेरिका है।
पासबुक चेक करने पर पता चला कि उसका भी खाता उसी एकाउंट नंबर पर खुला है, जिस नंबर पर रामनरेश की पत्नी शीला का खाता खुला था। अमेरिका की पत्नी शीला ने बताया कि बैंक में उसका जनधन खाता खुला था।
जनवरी में पासबुक अपडेट कराने पर खाते में एक लाख रुपये होने का पता चला। इसे सरकारी से मिली मदद मान कर उसने एक बार पांच हजार, दूसरी बार नौ हजार और चार बार 10-10 हजार रुपये निकाला था।
एक ही एकाउंट नंबर पर दो महिलाओं के नाम से खाता खुलने के संबंध में पूछने पर सहायक शाखा प्रबंधक नरेंद्र प्रताप ङ्क्षसह ने बताया कि इसकी जांच की जा रही है। दोषी के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी।