कुशीनगर। उत्तर प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार की तरफ से कुशीनगर एयरपोर्ट को अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट का दर्जा दिया गया और जल्द काम शुरू करने का निर्देश दिया गया है।
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जिसके बाद एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने तेजी से काम शुरू कर दिया है। इंटरनेशनल मानकों को पूरा करने के लिए एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने नई टर्मिनल बिल्डिंग बनाने का काम शुरू कर दिया है।
गोरखपुर एयरपोर्ट के निदेशक और निर्माणाधीन कुशीनगर एयरपोर्ट के निदेशक एके द्विवेदी ने नई टर्मिनल बिल्डिंग का भूमि पूजन कर शिलान्यास किया।
शिलान्यास कार्यक्रम के बाद एयरपोर्ट के निदेशक एके द्विवेदी ने बताया की ये एयरपोर्ट अंतरराष्ट्रीय स्तर का है, इसलिए यहां की सुरक्षा व्यस्था, यात्रियों को रुकने के साथ ही अन्य सुविधाएं भी अन्तर्राष्ट्रीय स्तर की होनी चाहिए।
इसी बात को ध्यान में रखते हुए नई टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण किया जा रहा है। तीन महीने के भीतर इस टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण पूरा हो जाएगा जिसके बाद यहां से उड़ान शुरू हो जाएगी।
आपको बता दें पुरानी टर्मिनल बिल्डिंग के स्थान पर नई टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण किया जा रहा है। जर्मन तकनीकी से बनने वाली इस टर्मिनल बिल्डिंग की लागत लगभग 26 करोड़ रुपए है।
महाराष्ट्र की वेस्टर्न आउटडोर स्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड इस टर्मिनल बिल्डिंग को बना रही है जिसे तीन महीने में काम को पूरा करना है।
अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुरक्षा और यात्रियों को ठहरने के मानकों को ध्यान में रखकर इस टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण किया जाएगा।
गौरतलब है कि, यहां आने में सैलानियों को कई-कई दिन लग जाते हैं। उन्हें यहां आने के लिए बोधगया या दिल्ली उतरना पड़ता है। फिर बस या ट्रेन से बौद्ध स्थलों का दर्शन करना होता है।
ऐसे में वो समय और खर्च की अधिकता से ऊब जाने के साथ थकान से भर जाते हैं। अब सैलानी सीधे कुशीनगर उतरकर अपने आराध्य भगवान बुद्ध का दर्शन करने के साथ बुद्ध की जन्मस्थल लुम्बनी (नेपाल), ननिहाल कपिलवस्तु, बौद्ध स्थल संकिसा, श्रावस्ती जैसे स्थानों परा आसानी से जा सकेंगे।