गोरखपुर लोकसभा उपचुनाव में अब काफी कम समय बचा है। बीजेपी, सपा और कांग्रेस सहित सभी दलों ने अपने प्रत्याशी घोषित भी कर दियें है। सपा ने प्रवीण निषाद पर भरोषा जताया है तो कांग्रेस ने सुरहिता करीम को मैदान में उतारा है।
चलिए हम बात करेंगे कांग्रेस पार्टी की उम्मीदवार डॉक्टर सुरहिता करीम की। सुरहिता करीम की राह आसान नहीं है क्योंकि पार्टी को यह डर है की उनका परंपरागत वोट ना सरक जाए, लेकिन सुरहिता करीम की बेदाग छवि कांग्रेस को जरूर फायदा दिला सकती है। लगभग यही स्थिति सपा की है क्योंकि सपा का परंपरागत वोट अल्पसंख्यक और ओबीसी हैं लेकिन सुरहिता करीम के मैदान में आ जाने से उनके मन में भी संशय बनी हुई है की कही उनके कोर वोटबैंक में सेंध ना लग जाए।
सुरहिता करीम इसके पहले महापौर पद के लिए चुनाव लड़ चुकी हैं और उस चुनाव में उन्होंने बीजेपी उम्मीदवार को जोरदार टक्कर भी दी थी इसीलिए कांग्रेस पार्टी हाईकमान ने उनके ऊपर भरोसा जताया है । गोरखपुर लाइव से बातचीत में सुरहिता करीम बताती है की “इस सरकार में गोरखपुर को कुछ नहीं मिला। इंसेफेलाइटिस का मुद्दा हो या मेडिकल कॉलेज में बच्चो की मौत हो सरकार चुप है। किसानों की जमीन का उचित दाम नहीं मिल रहा है, इन्ही सब मुद्दों को लेकर हम जनता में जाएंगे।”
वहीँ सपा प्रत्याशी संतोष निषाद भी पूरा दमखम लगा कर चुनाव लड़ने की तैयारी में हैं। इससे यह तो तय है कि किसी के लिए जीत आसान नही होगी लड़ाई में सभी हैं लेकिन आखिरी फैसला जनता ही करेगी।