न्याय के लिए भटकती गैग रेप पीड़िता, नही सुन रही गगहा पुलिस

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प्रकास पाण्डेय

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बांसगांव/कौडीराम।

“साहब दरिन्दो ने मेरी लड़की की जिंदगी बराबर कर दिया मेरी मदद करें।”

यह फरियाद है उस रेप पीड़िता की मां की जो अपने बेटी के साथ तीन दिन से थाने का चक्कर लगाने को मजबूर है, लेकिन कार्रवाई तो दूर की बात है थाने के साहब कुछ सुनने को भी तैयार नहीं है ।

गगहा थाना क्षेत्र के गजपुर गांव की सरिता (बदला हुआ नाम) उम्र 15 वर्ष 19जून को भोर में शौच के सड़क के किनारे से जा रही थी तभी मुंह पर कपड़ा बांधे दो युवकों ने मारपीट कर जबरदस्ती मोटरसाइकिल पर बैठाकर नदी के किनारे ले गए जहां पर पहले से ही मौजूद तीन अन्य साथियों के साथ मिलकर उन लोगों ने सरिता के साथ दुष्कर्म किया । पीड़िता ने बताया कि जब मुझे होश आया तो कौडीराम के पास एक मन्दिर में थी जहां पर उनमें से एक जो कि मेरा पड़ोसी है मेरी मांग में जबरन सिंदुर डाल दिया और यह पांचों एक गाड़ी से कौडीराम कस्वे के किसी मकान में ले गए और फिर बारी बारी से मेरे साथ दुष्कर्म किया और मैं बेहोश हो गई जब दुबारा होश आया तो मैं अपने ही गांव के पास एक ईंट भट्ठे पर थी ।

किसी तरह मैं जब सड़क पर आईं तो राहगीरों ने मुझे अपने घर पहुंचाया । पीड़िता की विधवा मां ने बताया कि वह एक दिन पहले दिल्ली में बिमार लडके के लिए झाड़-फूंक कराने अपने मायके गई थी घर पर पीड़िता की अंन्धी बृद्ध दादी ही थी । पीड़िता की मां जब मायके से घर आई और लड़की नहीं मिली तो दिन भर ढूंढती रही लेकिन कही पता नहीं चला शाम को लड़की जब घर पहुंची तो लाचार मां के होश उड़ गए लेकिन सहारा की आश में नजदीकी पुलिस चौकी पहुंची तो वहां के साहेबान ने थाने का रास्ता दिखा दिया । थाने के साहबान लोग चार कदम आगे निकले और पीडीता का दर्द जानना और कार्रवाई की बात करना तो दूर बस एक कागज लिखवा कर इतिश्री कर ली । पीड़िता की मां अपने एक रिश्तेदार महिला के साथ तीन दिन बाद जब पुनः थाने पहुंची और बलात्कारीयो का नाम पता बता कर कार्रवाई की मांग की तो माननीय योगी जी की यह पुलिस ने कुछ भी सुनने से मना कर दिया । पीड़िता की हालत गंभीर बनी हुई है और आरोपियों के द्वारा धमकी भी मिलना शुरू हो गया लेकिन 500 मीटर दूरी पर बैठी चौकी पुलिस कुछ भी कहने से इंकार कर दिया । सूत्रों कि माने तो खबर लिखे जाने तक कोई भी शिकायत दर्ज नहीं हुआ था । इस बिषय पर जब थाना प्रभारी गगहा से फोन द्वारा सम्पर्क करने का प्रयास किया गया तो उनके सहकर्मी द्वारा फोन उठाया गया लेकिन कोई स्पष्ट जबाव नहीं मिला ।