जश्न मनाइये लोकतंत्र के त्यौहार का और कलाबाजी दिखाते तमाम नेताओं का…

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नीतीश गुप्ता
गोरखपुर।

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देश का सबसे बड़ा पर्व लोकतंत्र का त्यौहार आगामी 11 अप्रैल से शुरू हो रहा है। देश की जनता भी इस त्यौहार का बेसब्री से इंतजार कर रही है। अब त्यौहार है तो जनाब इसमें मदारी भी दिखेंगे और कलाबाजी दिखाते मदारी के इशारे पर नेता जी भी। तो बस फिर क्या हर प्रदेश में शुरू है कलाबाजी का खेल, हर पार्टी हर नेता लोगों को कलाबाजी दिखाने में लगे हैं आपको बता दे यहां कलाबाजी से हमारा मतलब लोगों को रिझाने से है क्योंकि जब लोगों को रिझाएंगे तभी तो लोग नेता जी के पक्ष में वोट देंगे। अब देखिए न 2014 के लोकसभा चुनाव में लोगों से विकास, रोजगार, भ्रष्टाचार, कालाधन का मुद्दा लेकर सत्त्ता में आई बीजेपी इस बार यानी 2019 के लोकसभा चुनाव में 2014 का सब मुद्दा भुलाकर हिंदुत्व का मुद्दा उठायी है।

इस बार न युवाओं के लिए रोजगार की बात है ना किसान के लिए किसी लाभ का, न कालाधन लाने की बात है, न ही भ्रष्टाचारियों पर लगाम की और सबसे बड़ी बात इस बार राम मंदिर निर्माण का मुद्दा भी गायब है। वहीं कांग्रेस पार्टी भी कोई इनसे अलग नहीं है हाल ही में राहुल गांधी ने प्रेसवार्ता कर 2019 के चुनाव में गरीब, मजदूरों और किसानों को लुभाने के लिए 72000 रुपये सलाना देने की बात की थी। अब ना जानें राहुल गांधी जीतने के बाद ये पैसे लोगों के देंगे कैसे ये भगवान जानें ? खैर चुनावी मौहाल है तो नेताजी सड़कों पर तो दिखेंगे ही। अब देखिए न ए सी कमरों में रहने और गाड़ी में चलने वाले नेता जी सड़कों, गलियों में टहलते नजर आ रहे है और आये भी क्यों न? चुनाव जो है।

अब बीजेपी सांसद हेमा मालिनी को देख लीजिए बेचारी फिल्मों में किरदार निभाने के अलावा कभी खेत खलियान में न गयी न देखी लेकिन चुनाव सर पर है तो फोटो खिंचाने और लोकप्रियता जुटाने पहुँच गयी खेत में, लेकिन बेचारी हेमा जी कभी खेत में गयी हो तब तो वो पहुँची तो जरूर लेकिन कैमरे में फोटो के लिए या यूं कहें कि कलाबाजी दिखाने के चक्कर में कटे गेहूं के फसल पर ही हंसिया चलाने लगी वो भी सिल्क की चमकदार साड़ी में, हेमा जी ने सोचा न होगा कि उनकी ये कलाबाजी उनपर भारी पड़ेगी खैर चुनाव है तो कलाबाजी तो दिखेगी ही। वहीं बीजेपी सांसद अश्वनी चौबे भी कलाबाजी दिखाने में पीछे नहीं है बेचारे लोगों को दिखाने के लिए जमीन पर ही लोटने लगे।